vastu ke anusar staircase (sidhiyan) in hindi 2024
vastu के अनुसार staircase -यदि घर की सिढीया vastu नियमो के अनुरूप बनाई जाये तो हमारे घर की सीढ़ियाँ हमारे लिए सदेव ही कामयाबी एवं सफलता की की सिढीया बन सकती है |बस आवश्यकता है staircase बनवाते समय कुछ vastu नियमो का पालन करने की |
फिर हम भी अपने जीवन में सुख शांति खुशहाली सभी एक साथ पा सकते है |सिढीया सबंधित vastu नियम किया है जाने-भवन या मकान की सिढीया उत्तर से दक्षिण की और जाने वाली या दक्षिण से पश्चिम या पश्चिम से उत्तर की और जाने वाली होनी चाहिए सीढीयों के लिए मकान में पश्चिम ,दक्षिण या नेत्रत्व कोण सर्वाधिक उपुक्त होता है नेत्रत्व कोण या दक्षिण पश्चिम का हिस्सा staircase बनाने के लिए अत्यंत शुभ व् कल्याणकारी होता है
सिढीयाँ कभी भी उत्तरी या पूर्वी दिवार से जुडी हुई नहीं होनी चाहिए अगर उत्तरी पूर्वी दिवार की साइड staircase बनाने की जरूरत हो तो काम से कम दिवार से 3 इन्च दूर बनाई जा सकती है
घर के अग्नि कोण या पूर्व की दिवार पर सीढीया बनाने से सन्तान के स्वास्थ्य पर बुरा प्रभाव पड़ता है staircase यदि घुमावदार बनानी है तो पूर्व से दक्षिण ,दक्षिण से पश्चिम की और जानी चाहिए यानि घड़ी की तरह होनी चाहिए |यदि घर का उपर का हिस्सा किराये देना हो और मकान मालिक को निचे रहना होतो एसी स्थिति में उपर तक पहुचने के लिए staircase घर के सामने नहीं बनानी चाहिए
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staircase |
इससे किरायेदार को आर्थिक लाभ होता है और मकान मालिक को आर्थिक नुकसान होता है staircase के शरुआत व् अंतिम छोर पर दरवाजा जरुर बनाना चाहिए सीढी का द्वार हमेशा पूर्व अथवा दक्षिण दिशा में ही होना चाहिए |अक्सर लोग सीढीयों के निचे जूता स्टेंड बनवा देते है यह सर्वथा अनुचित है सीढीयों के vastu दोष दूर करने का उपाय यदि घर बनाते समय सीढीयों के सम्बधित कोई vastu दोष रह गया होतो आपको एक उपाय करना है बारिश का पानी एक मिटटी का गड़ा में भरकर मिटटी का ही ढक्कन लगाकर staircase के निचे दबा देना है ऐसा करने से vastu सम्बधित दोष दूर होते है
disclaimer-यह लेख किताबो और लोक मान्यता की कथा व् वास्तुशास्त्र से अर्जित की गयी है इसलिये इसे पढने तक ही सिमित रखे homebasic इसके सत्यता की पुष्टि नहीं करता है
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